
Bhagalpur News: भागलपुर जिला परिषद में एक बार फिर सियासी उठापटक तेज हो गई है। नाथनगर से विधायक चुने जाने के बाद मिथुन कुमार की अध्यक्ष पद से स्वाभाविक विदाई तय मानी जा रही है, और इसी खाली पद ने जिला परिषद में नए समीकरण खड़े कर दिए हैं। ताज़ा हालात ऐसे हैं कि पूर्व अध्यक्ष अनंत कुमार उर्फ टुनटुन साह को एक बार फिर से कुर्सी मिलने का रास्ता लगभग साफ माना जा रहा है। 23 जिला परिषद सदस्यों का समूह खुलकर उनके समर्थन में खड़ा हो चुका है। अब निगाहें सिर्फ आधिकारिक घोषणा पर टिक गई हैं।
दरअसल भागलपुर जिला परिषद में नेतृत्व परिवर्तन के संकेत साफ दिखाई देने लगे हैं। नाथनगर विधानसभा क्षेत्र से मिथुन कुमार के विधायक चुने जाने के बाद जिला परिषद अध्यक्ष का पद रिक्त हो गया है। इस रिक्ति के साथ ही जिला परिषद में एक बार फिर सत्ता संतुलन बदलने लगा है, और नए अध्यक्ष के चयन की प्रक्रिया को लेकर हलचल तेज हो गई है।
कुछ ही माह पहले जिला परिषद सदस्यों ने पूर्व अध्यक्ष अनंत कुमार उर्फ टुनटुन साह के खिलाफ अविश्वास प्रस्ताव लाकर उन्हें पद से हटाया था, जिसके बाद मिथुन कुमार को अध्यक्ष बनाया गया था। लेकिन राजनीतिक समीकरण इतने तेजी से बदले कि मिथुन के विधायक बनते ही टुनटुन साह के लिए रास्ता फिर से खुलता दिख रहा है।
सूत्रों से मिली जानकारी के मुताबिक, जिला परिषद के कुल 23 सदस्य आज एक साथ आए और टुनटुन साह के समर्थन में अपनी एकजुटता दिखाते हुए नए सिरे से उन्हें अध्यक्ष बनाने की मांग रख दी। सदस्यों का कहना है कि “परिषद में नेतृत्व वही होना चाहिए जो सबको साथ लेकर चल सके, और टुनटुन साह इस भूमिका के लिए सबसे उपयुक्त हैं।”
इस पूरे घटनाक्रम पर प्रतिक्रिया देते हुए टुनटुन साह ने कहा कि परिषद परिवार की तरह है — “थोड़ा बिखराव हुआ था, लेकिन अब पूरा परिवार एकजुट है और सभी सदस्य फिर से मेरे साथ खड़े हैं।”
जिला परिषद अध्यक्ष पद के लिए अब आधिकारिक घोषणा का इंतजार है, लेकिन मौजूदा सियासी हवा साफ इशारा कर रही है कि टुनटुन साह की दावेदारी सबसे मजबूत हो चुकी है। मंच और समीकरण दोनों उनके पक्ष में हैं।





